Lyrics

तू है या नहीं, भगवान? तू है या नहीं, भगवान? तू है या नहीं, भगवान? कभी होता भरोसा, कभी होता भरम पड़ा उलझन में है इंसान कभी होता भरोसा, कभी होता भरम पड़ा उलझन में है इंसान तू है या नहीं, भगवान? मत उलझन में पड़, इंसान ओ, मत उलझन में पड़, इंसान तेरे सोचे बिना जब होता है सब तो समझ ले कहीं है भगवान मत उलझन में पड़, इंसान मत उलझन में पड़, इंसान तू है या नहीं, भगवान? तू है या नहीं, भगवान? वो है अगर तो क्यूँ दे ना दिखाई? वो है अगर तो क्यूँ दे ना दिखाई? कैसी ये उल्टी रीत है वो है अगर तो क्यूँ दे ना दिखाई? कैसी ये उल्टी रीत है झूठा है वो, उसके झूठे ही भय से झूठा जगत भयभीत है घन-घन गरजती हुई ये घटाएँ... घन-घन गरजती हुई ये घटाएँ, किसका सुनाती गीत हैं? लहराते सागर की लहरों में गूँजे... लहराते सागर की लहरों में गूँजे, किसका अमर संगीत है? ...किसका अमर संगीत है? जो दाता है सबका महान ओ, जो दाता है सबका महान दिया जिसने जनम, दिया जिसने ये तन क्यूँ ना उसको सका तू पहचान? मत उलझन में पड़, इंसान मत उलझन में पड़, इंसान तू है या नहीं, भगवान? तू है या नहीं, भगवान? बालक की माता रोती है क्यूँ...? ओ, बालक की माता रोती है क्यूँ? अनहोनी जग में होती है क्यूँ? मंदिर में दीप जलाते हैं जो, उनके घर की बुझती ज्योति है क्यूँ? ...अनहोनी जग में होती है क्यूँ? जीवन-मरण, हानी और फ़ायदा कर्मों का फल उसका है क़ायदा इंसान की कुछ भी चलती नहीं करनी कभी अपनी टलती नहीं भक्ति के भाव से उसको तू जान ले श्रद्धा की आँखों से उसको पहचान ले होता नहीं क्या अचम्भा बड़ा? आकाश किसके सहारे खड़ा आकाश किसके सहारे खड़ा फूलों में रंग, झरनो में तरंग धरती में उमंग जो उठाता, वो कौन? क्या तुम? बादल में बिजली, पहाड़ों में फूल जो खिलाता, वो कौन? क्या तुम? वो है सर्वास्त्र-शक्तिमान ओ, वो है सर्वास्त्र-शक्तिमान कण-कण में बसे पर दिखाई ना दे उसकी शक्ति को तू पहचान मत उलझन में पड़, इंसान मत उलझन में पड़, इंसान मत उलझन में पड़, इंसान तेरे सोचे बिना जब होता है सब तो समझ ले कहीं है भगवान मत उलझन में पड़, इंसान मत उलझन में पड़, इंसान मत उलझन में पड़, इंसान
Writer(s): Bharat Vyas, S. N. Tripathi Lyrics powered by www.musixmatch.com
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